बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली ने टी20 वर्ल्ड कप में भारतीय टीम के खराब परफॉर्मेंस को लेकर कहा है कि भारतीय टीम का प्रदर्शन इस टूर्नामेंट में खराब रहा था।
गांगुली की मानें तो पिछले चार से पांच सालों के दौरान ये टीम द्वारा किया गया सबसे खराब प्रदर्शन था। भारतीय टीम को टी20 वर्ल्ड कप में सुपर-12 से ही खराब प्रदर्शन के कारण बाहर होना पड़ा था।
टीम सेमीफाइनल में अपनी जगह बनाने में नाकाम रही थी। टीम को पहले ही मुकाबले में पाकिस्तान के हाथों 10 विकेट से बुरी तरह हार झेलनी पड़ी थी।
इसके बाद न्यूजीलैंड के खिलाफ अगले मैच में भी टीम को 8 विकेट से हार का सामना करना पड़ा था। कीवी टीम के हाथों मिली हार के साथ ही भारतीय टीम के सेमीफाइनल में जगह बनाने की उम्मीदें खत्म हो चुकी हैं।
सौरव गांगुली के मुताबिक भारतीय टीम इस वर्ल्ड कप में अपनी क्षमता का सिर्फ 15 प्रतिशत ही खेल दिखाने में सफल हो पायी। उन्होंने “बैकस्टेज विद बोरिया” शो में बताया।
2017 के चैंपियंस ट्रॉफी और 2019 के वर्ल्ड कप में हमने अच्छा प्रदर्शन किया था। 2017 में हमें फाइनल मुकाबले में पाकिस्तान से हार का सामना करना पड़ गया था और उस वक्त मैं कमेंटेटर हुआ करता था।
इसके बाद इंग्लैंड में हुए वर्ल्ड कप में हमारा प्रदर्शन काफी जबरदस्त रहा था। हमने हर एक टीम को हराकर सेमीफाइनल में जगह बनाई लेकिन सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड के हाथों हार का सामना करना पड़ा।
एक खराब दिन की वजह से हम वर्ल्ड कप जीतने में असफल हो गए। हालांकि 2021 के टी20 वर्ल्ड कप में हमारा प्रदर्शन पिछले चार-पांच सालों की तुलना में सबसे खराब प्रदर्शन था।
मैं नहीं जानता कि किस वजह से भारतीय टीम इस वर्ल्ड कप में आजादी के साथ नहीं खेल पायी। कभी-कभी बड़े टूर्नामेंट्स में ऐसा देखने को मिल जाता है कि आप फंस गए हैं।”
वहीं दूसरी तरफ भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) की आम सालाना बैठक की पूर्व संध्या पर ईडन गार्डन्स में 15-15 ओवर का एक प्रदर्शनी मैच का आयोजन किया गया।
गांगुली छठे नंबर पर बल्लेबाजी के लिए आये। ‘फिनिशर’ की भूमिका निभाते हुए गांगुली ने 20 गेंद में दो छक्के और चार चौकों की मदद से 35 रन की पारी खेली। उन्हें मैच के नियमों के अनुसार रिटायर होना था.।
बीसीसीआई अध्यक्ष इलेवन की टीम को जय शाह की अगुआई वाली सचिव इलेवन से एक रन से हार का सामना करना पड़ा।
गांगुली के घरेलू मैदान में बीसीसीआई सचिव शाह ने अपनी स्पिन गेंदबाजी से कमाल दिखाते हुए सात ओवर में 58 रन देकर तीन विकेट लिए। इससे टीम 128 रन के स्कोर का बचाव कर सकने में सफल रही।